मंदी के मारों पर हालात के सितम जारी हैं। एक तो ग्लोबल आर्थिक संकट के चलते इनकी नौकरी चली गई, दूसरी जगह काम पाने के लिए आनलाइन आवेदन किया तो हैकर महत्वपूर्ण गोपनीय जानकारियां ले उड़े। मंदी से बेरोजगार लोग इस तरह दोहरी परेशानियों का शिकार हो रहे हैं।
बदले आर्थिक परिदृश्य में रोजगार के खराब हालात को पहचान चुराने वाले और हैकर नौकरियों से जुड़े पोर्टलों पर हमला करने और आवेदकों के बारे में सूचना प्राप्त करने के अवसर के रूप में उपयोग कर रहे हैं। इसके लिए एक सबटेरेनियन [भूमिगत] बाजार सक्रिय हो उठा है।
अपने काम को बखूबी अंजाम देने की खातिर यह हैकर फर्जी वेबसाइटें भी बना रहे हैं। इसलिए अगली बार जब आप नौकरी के लिए आवेदन करें तो वेबसाइट की विश्वसनीयता के बारे में जरूर पड़ताल कर लें।
मंदी के चलते जो लोग छंटनी का शिकार हो चुके हैं, वह नई नौकरी का जुगाड़ करने के लिए रोजगार उपलब्ध कराने वाली वेबसाइटों पर धड़ाधड़ आवेदन कर रहे हैं। इसके लिए वह अपने बारे में चाही गई तमाम जानकारियां जैसे बैंक खाता संख्या तक देने से गुरेज नहीं कर रहे। इसके चलते नौकरी से जुड़ीं वेबसाइटें निजी आंकड़े जुटाने का महत्वपूर्ण जरिया बन गई हैं।
इंटरनेट सिक्योरिटी कंपनी ट्रेंड माइक्रो ने कहाकि हैकर कारपोरेट नौकरी वाली ऐसी ही वेबसाइटों को अपना शिकार बना रहे हैं और आवेदकों की निजी जानकारी प्राप्त करने के लिए फर्जी साइटें भी बना रहे हैं। ट्रेंड माइक्रो के उत्पाद मार्केटिंग मैनेजर अभिनव कर्णवाल ने कहाकि बेरोजगारी की स्थिति बनी रहने के कारण ज्यादा से ज्यादा लोग नौकरी के लिए आनलाइन आवेदन कर रहे हैं। इससे हैकरों का काम काफी आसान हो गया है।
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